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Friday 3 January 2020

Hindi stories दोस्ती की पहचान हिंदी कहानी (hindi kahani)

दोस्ती की पहचान हिंदी कहानी HINDI KAHANI DOSTI KI PAHCHAN
Hindi stories दोस्ती की पहचान हिंदी कहानी  (hindi kahani)
Hindi stories दोस्ती की पहचान हिंदी कहानी  (hindi kahani)

दोस्तों "हिंदी कहानी" दुनिया में दोस्ती की पहचान आपको कहानी के माधयम से दोस्ती की पहचान करना की कोशिश करेगी जो की बहुत ही कठिन है ! क्योकि "मित्रता की पहचान" करने में बहुत ही समस्या आती है!दोस्ती की पहचान हिंदी कहानी हम आपके लिए लेकर आये है ताकि आप अपने सच्चे दोस्त को पहचान सको ! इस हिंदी कहानी (Hindi stories)को बहुत ही ध्यान से पढ़े और उसमे समझाए गए प्लान से अपनी मित्रता की पहचान करे ! मित्र की कसौटी पर अपने मित्र को परख कर देखें !

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दोस्ती की पहचान हिंदी कहानी HINDI KAHANI DOSTI KI PAHCHAN

एक बार एक किसान के पास एक बकरी थी , वह बकरी बहुत सुन्दर थी ! उस बकरी का स्वाभाव बहुत ही प्यारा था ! वह बकरी हमेशा अपने साथ रहने वाले और जानवरो का ध्यान रखती थी सब के साथ उसका व्यवहार मित्रता वाला था , उस बकरी की कुछ और बकरी सहेलिया थी , जिन के बकरी के साथ उसकी दोस्ती थी वह उनके  साथ  पूरा दिन घुमा करती थी और उनके साथ ही वह अपने खाने पीना का इंतजाम करती थी ! 

दोस्ती की पहचान हिंदी कहानी HINDI KAHANI DOSTI KI PAHCHAN

एक बार वह बकरी जंगल में अपने भोजन के लिए गई हुई थी साथ में उसकी सहेलियां भी थी , वह सब घास खाते खाते बहुत दूर तक निकल गए थी उसकी सहेली ने जब देखा की वह सब जंगल में बहुत दूर तक आ गई है तो वह डर ने लगी उसने बकरी से कहा की हम अब घर वापिस कैसे जाएंगी तो उस बकरी ने कहा की धीरज रखे कोई उपाय ढूंढते है ! तभी उनको एक बाघ दिखाई दिया , बाघ को देख कर बकरिया डरने लगी , अब तो सभी बकरिया डर के मारे भागने लगी भागते भागते वह बकरी एक कीचड भरे दलदल में फंस गई , लेकिन उसकी सहेली बकरी उसके पास नहीं रुकी !

दोस्ती की पहचान हिंदी कहानी HINDI KAHANI DOSTI KI PAHCHAN

उस बकरी ने उनको बहुत आवाज दी लेकिन उसकी सहेली बकरी ने अपनी जान बचने के लिए उसकी आवाज को नहीं सूना और उस बकरी को दलदल में ही फंसा छोड़ दिया , इसके बाद वह बकरी बहुत ही अफ़सोस करनी लगे और सोचने लगी की वह किन के साथ मित्रता रखती थी जो उसके बुरे समय में उसक साथ छोड़ दिया, उसको परेशानी में मरने के लिए छोड़ दिया इस तरह के लोगो के साथ कभी भी मित्रता नहीं रखनी चाहिए जो संकट काल में दोस्त को अकेला छोड़ दे ! 

दोस्ती की पहचान हिंदी कहानी HINDI KAHANI DOSTI KI PAHCHAN

कभी कभी किसी को दोस्त बनाने से पहले उसकी दोस्ती की पहचान करनी चाहिए , हमेशा अपने दोस्त उन लोगो को बनाना चाहिए जो हमेशा उसक साथ दे सके विपत्ति काल में उसका साथ डटकर दे सके दोस्ती की संकट काल में भी अपनी जान से ज्यादा सहायता करे इसलिए बंधुओ अपनी जानी कैसे दोस्ती की पहचान करनी चाहिए समझना चाहिए कैसे लोगो से दोती रखनी चाहिए ! 

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